Wednesday 3 February 2016

मृत्यु से डरना कायरता

मृत्यु से डरना कायरता
मृत्यु अपरिहार्य है। मृत्यु से किसी को
बचाया नहीं जा सकता। भगवान अपने नियम
और सिद्धांत के अनुसार कार्य करते हैं । मृत्यु से
भयभीत होना कायरता है । परमात्मा और आत्मा
अजर-अमर है । ईश्वर के सिद्धांत के अनुसार
शरीर बदलना पड़ता है । अज्ञानता के कारण
शरीर छोड़ने पर दु:ख होता है, जबकि यह स्थिति
छोड़ना शाश्वत सत्य है । शरीर की नश्वरता अोर
आत्मा की अमरता का ज्ञान प्राप्त करने के लिए
राम नाम स्मरण अोर सत्संग अावश्यक है । यह
संसार एक धर्मशाला और मनुष्य मुसाफिर के
समान है ।
त्याग जीवन को सुखी बनाने का आसान
उपाय है। त्याग से मन को शांति मिलती है।
त्याग का दिखावा नही करना चाहिए।त्याग करना
बुरी बात नही,संग्रह करना बुरा है। व्यक्ति को
सांसारिक मायाजाल का बोध होने पर ही उसकी
साधना का मार्ग सरल होता है।

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